Nov 22, 2022

मास्टर ने खाये पकौड़े, तोताराम ने पी चाय

मास्टर ने खाये पकौड़े, तोताराम ने पी चाय 


आज तोताराम ने आते ही हमारे सामने अपना स्मार्ट फोन कर दिया और बोला- देख।  

हमने देखा, यह तो हमारा ही फोटो था। परसों तोताराम २०-२० क्रिकेट में इंग्लैण्ड की जीत के उपलक्ष्य में पकौड़े  लाया था।  फोटो में हम पूरी मुट्ठी भरकर पकौड़े उठाये हुए थे और मुंह में भी पकौड़े भरे हुए थे।  ऐसा लग रहा था जैसे पेटू ब्राह्मणों द्वारा कहा गया वाक्यांश सार्थक हो रहा है-

परान्नं दुर्लभं लोके मा शरीरे दया कुरु।  

हमने कहा- यह भी कोई फोटो है ? क्या उपयोगिता है ऐसे फोटो की ? लगता है मुफ्त का माल है और पेले जा रहे हैं।  

बोला- आजकल ऐसा ही ज़माना है।  अब एक काम कर, तू मेरा चाय पीते हुए एक फोटो ले ले।  कल कोशिश करते हैं किसी अखबार के लोकल संस्करण में घुसाने की।  शीर्षक होगा- मास्टर ने खाये पकौड़े, तोताराम ने पी चाय।  

वैसे भी आजकल अखबार वालों के पास कोई समाचार होते भी नहीं।  ऐसे समाचार यश के आकांक्षी और फोटोजीवी खुद ही दे जाते हैं और छपने पर आभार भी मानते हैं और मौके बे मौके कुछ भेंट पूजा भी कर देते हैं।  वैसे कोई भी अखबार कोई भी ढंग की खबर छपने की जोखिम नहीं लेता।  क्या पता किस समाचार से किसकी कोई भावना आहत हो जाए या कौन सा समाचार सरकार के विरुद्ध चला जाए। पता नहीं, कब कौन ऍफ़ आई आर दर्ज़ करवा दे या सरकारी विज्ञापन खतरे में पड़ जाएँ। गंगा में तैरती लाशें दिखाने पर पता नहीं ईडी वाले अखबार को ही गयाजी न पहुंचा दें।  

हमने कहा- तो यही रह गया है लोकतंत्र का चौथा खम्भा !

बोला- जब राजनीति ही ऐसी रह गई है जिसमें एक दूसरे पर निराधार और घटिया आरोप लगाने और नाटक करने के अलावा कोई मुद्दा ही नहीं रह गया है तो अखबार भी क्या करें। 

हमने कहा- मुद्दे तो एक नहीं हजारों हैं।  घोटाले, बलात्कार, बेरोजगारी, अपराध, कुप्रबंधन। किसी के पास कोई इलाज, कोई विजन, कोई समाधान नहीं है।  इसलिए सब इधर-उधर की नौटंकी कर रहे हैं।  

उधर केजरीवाल गुजरात में ऑटो रिक्शे में घूम रहे हैं, उधर राहुल गाँधी भारत जोड़ो यात्रा में डांस कर रहे हैं, इधर स्मृति ईरानी आणंद में गोलगप्पे खा रही है।  और उधर मोदी जी ! यहां जनता का बैंड बजा-बजा कर मन नहीं भरा तो जी-२० सम्मेलन में इंडोनेशिया का कोई पारम्परिक वाद्य बजा बजाने के लिए चले गए हैं।  मैंने तो उनका एक फोटो गुरूद्वारे में वाश बेसिन में हाथ धोते हुए भी देखा था।  

हो सकता है कल को बड़े लोगों का मल-मूत्र त्याग करते हुए फोटो भी जनता को उपलब्ध होने लग जाए।  

तोताराम बोला- तो ऐसे में  मास्टर का पकौड़े खाते हुए और तोताराम का चाय पीते हुए फोटो छाप जाए तो क्या गुनाह हो गया। 

ले ले मेरा चाय पीते हुए फोटो।  इसके बाद खाना खाकर चलेंगे किसी अखबार में यह ब्रेकिंग न्यूज देने।  




पोस्ट पसंद आई तो मित्र बनिए (क्लिक करें)

(c) सर्वाधिकार सुरक्षित - रमेश जोशी । प्रकाशित या प्रकाशनाधीन । Ramesh Joshi. All rights reserved. All material is either published or under publication. Jhootha Sach

No comments:

Post a Comment