Oct 6, 2010

महारानी एलिजाबेथ को नेक सलाह

मैडम एलिजाबेथ,

नमस्ते । हमारे बचपन में आप ब्रिटेन ही नहीं, भारत की भी महारानी थीं पर वह समय हमें पूरी तरह याद नहीं क्योंकि उस समय आप से ज़्यादा महात्मा गाँधी की जय गूँज रही थी । ब्रिटेन में राजशाही तो खैर बहुत पहले मिट चुकी पर जिस तरह म्यूजियम में पुरानी चीजों का महत्त्व होता है वैसे ही आपको एक विचित्र वस्तु की तरह सजा कर रख छोड़ा है, पर यह सजावट है बहुत महँगी । साठ लाख पौंड तो युवराज को ही मिलता है । राजपरिवार पर तो पता नहीं कितना खर्चा बैठता होगा । हमारे यहाँ भी पहले राजा हुआ करते थे । राज चला गया, प्रीवी-पर्स बंद हो गया पर वे अब भी महाराजा ही कहलाते हैं । भोली जनता अब भी उन्हें वही दर्जा देती है । हमारे यहाँ जो समझदार राजे-रजवाड़े थे, वे अपने महलों में होटल खोल कर बैठ गए । जो ज़्यादा समझदार थे वे राजनीति में आ गए और अब भी राजसी रुतबा भोग रहे हैं ।

हमने पहली बार आपको जनवरी १९६१ में देखा था जब आप ड्यूक के साथ आई थीं और जयपुर महाराजा और महारानी के साथ खुली जीप में शेर का शिकार करने के लिए, वाया सवाईमाधोपुर, रणथम्भौर जा रही थीं । उस समय आपकी उम्र कोई चालीस के आसपास थी और हमारी यही कोई उन्नीस । तब आपका क्या रुतबा था ! वाकई महारानी लग रही थीं । कई दिनों तक सवाईमाधोपुर के काला-गोरा भैरूं जी वाले गेट के बाहर एक तिबारे-नुमा स्थान पर हनुमान जी मूर्ति के साथ रखा आपका फ़ोटो भी हम कई बरसों तक देखा करते थे । अब तो वे पुजारी जी भी नहीं रहे और हो सकता है कि उनके बेटे-पोतों ने आपके स्थान पर डायना या मल्लिका शेरावत की फ़ोटो लगा ली हो । अब आपकी उम्र सन्यास आश्रम की हो चुकी है पर राजा के लिए सन्यास लेना मरने से भी अधिक पीड़ादायक काम है । वैसे अब तो भारी ताज पहनने से आपकी गर्दन में भी दर्द होने लगता होगा ।

आपसे ज़्यादा फ़िकर हमें प्रिंस चार्ल्स की है । वे बेचारे महाराजा बनने के इंतजार में साठ पार करने वाले हैं । जरा, सोचिये ! बेचारे ताज पहनने की ललक को बार-बार सेहरा पहन कर मिटा रहे हैं । अगर वे महाराजा बन गए होते तो इस तरह बार-बार शादी करने, इश्क फरमाने, तलाकशुदा औरत से शादी करने जैसे घटिया काम तो नहीं करते । महाराजा बनने से थोड़ी बहुत तो गंभीरता आती ही । पर अब तो वे अपने आप को प्रिंस ही मानते हैं । जवान, खिलन्दड़ा । पर उम्र तो उम्र है । कहीं स्वयं को जवान मानकर ज्यादा उछल-कूद की तो हड्डी तुड़वा बैठेंगे । साठ साल की उम्र में पता नहीं हड्डी ढंग से जुड़ेगी भी या नहीं । इस उम्र में हमारे यहाँ तो लोग चार धाम की यात्रा पर जाने का प्रोग्राम बनाने लग जाते हैं और प्रिंस हैं कि कोमिला की ही बावन-कोसी परिक्रमा कर रहे हैं ।

इसलिये हम आपको नेक सलाह दे रहे हैं कि आप सन्यास ले लें और बाबा आमटे जैसा कोई पुण्य कार्य पकड़ लें । बड़ा सुख मिलेगा । उन देशों में - विशेषरूप से एशिया, अफ्रीका के जिन देशों पर आपने राज किया है और जिनको चूस कर भी नहीं छोड़ा - जाइए और उन देशों के दुखी लोगों की सेवा कीजिए । आत्मा को बड़ी शान्ति मिलेगी । ये भौतिक ताज और राज सच्चा सुख नहीं देते । सेवा से बड़ा सुख और कुछ नहीं है । उससे जो मेवा मिलेगा वह अंगूर और बादाम से भी मीठा और पौष्टिक होगा । इससे आपके पूर्वजों की आत्मा को भी शान्ति मिलेगी और आपको भी स्वर्ग प्राप्त होगा । आपकी आँखों के आगे ही प्रिंस भी जिम्मेदार और समझदार हो जायेंगे । हालाँकि ब्रिटेन में राजा को कोई अधिकार नहीं होते फिर भी पद तो पद ही होता है । बेचारे बूढ़े प्रिंस को भी अवसर दीजिये । भगवान आपको शतायु करे पर प्रिंस का भी तो ख्याल कीजिए ।

अब तो नई बहू भी आने वाली है । पता नहीं कैसा सलूक करे आपके साथ । इसीलिए समय रहते महारानी से राजमाता बन जाइए । राजमाता का पद भी कोई कम नहीं होता । जैसे माँ बनने का मज़ा है वैसे ही दादी बनने का मज़ा भी कुछ और ही है । महारानी बनी रह कर दादी होने का असली मज़ा नहीं लिया जा सकता । दादी होने का असली मजा तो सब जिम्मेदारियों से मुक्त होकर पोतों को परियों की कहानी सुनाने में है । प्रिंस का पहले वाली पत्नी का बेटा तो अब दारू पीकर इश्क लड़ाने लग गया है । क्या पता, कोमिला ही आपको एक प्यारा सा पोता दे दे । आप दादीत्व से अपने जीवन को आनंदमय कर लीजिये । पर उससे पहले आप फैसला तो कीजिए, महारानी से पक्की दादी बनने का ।

१७ - २ - २००५

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(c) सर्वाधिकार सुरक्षित - रमेश जोशी । प्रकाशित या प्रकाशनाधीन । Ramesh Joshi. All rights reserved. All material is either published or under publication. Jhootha Sach

5 comments:

  1. is sabke baad bhi britons aadarsh hain, kam se kam apni paramparaon ko nibhate hain aur apne logon kI rakhsha karte hain...

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  2. महारानी भला आपकी सलाह क्यों मानने लगीं!यही बात हमारे यहाँ भी तो लागू करवा दीजिये,विलायत वाले क्यों अपनी विलासिता छोड़ेंगे?

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  3. pahile apane desh ke girewan me to jhankle ................

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